🧨 शुरुआत में ही धमाका: जब चुड़ैल बनी ‘देवी’ और गांव जल उठा!
“Mandala Murders” नेटफ्लिक्स की एक नई थ्रिलर वेब सीरीज़ है जो आपकी भावनाओं से सीधे खेलती है। 1950 के दशक में उत्तर प्रदेश के चारंदासपुर गांव में एक महिला (श्रिय पिलगांवकर) इंसानी अंगों का उपयोग करके खुद को एक ‘देवी’ बनाने का प्रयास करती है। गांव वाले उसे ‘चुड़ैल’ कहते हैं और उसे जिंदा जला देते हैं। लेकिन कहानी यहीं नहीं खत्म होती..। वास्तविक खेल अब शुरू होता है!
📋 Table of Contents
Mandala Murders कहानी की जड़ें: चुड़ैल, मण्डल और रिचुअल
आज की तारीख में हत्या की सनसनी
स्टार परफॉर्मेंस: वाणी-वैभव की जोड़ी
डायरेक्शन और सिनेमैटोग्राफी का असर
जनता और विशेषज्ञों की राय
ग्लैमर के साथ गॉसिप: वाणी का लुक वायरल
क्या काम नहीं करता?
निष्कर्ष और CTA
🧠 Mandala Murders कहानी की जड़ें: चुड़ैल, मण्डल और रिचुअल
1950 के दशक से लेकर 2025 के वर्तमान समय तक फैली यह कहानी काल्पनिक नहीं लगती—बल्कि आपको लगेगा जैसे ये सब आपके गांव में हुआ है। एक विशेष ‘मण्डल’ कला, एक रहस्यमयी सिक्का जो इच्छाएं पूरी करता है लेकिन बदले में अंगूठा मांगता है, और एक के बाद एक हो रही हत्याएं… सब कुछ एक दूसरे से जुड़ा है।
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🔪 आज की तारीख में हत्या की सनसनी
2025 में दिल्ली पुलिस से सस्पेंड हुआ विक्रम सिंह (वैभव राज गुप्ता) अपने पिता के साथ चारंदासपुर लौटता है, जहां वो एक रहस्यमयी हत्या का गवाह बनता है। जल्द ही उसे CIB एजेंट रेया थॉमस (वाणी कपूर) के साथ काम करना पड़ता है। दोनों मिलकर हत्याओं की कड़ी जोड़ते हैं, जिनका संबंध उस पुराने मण्डल, चुड़ैल और एक पुरानी गुप्त संस्था से निकलता है।
⭐ स्टार परफॉर्मेंस: वाणी-वैभव की जोड़ी
कलाकार | किरदार | परफॉर्मेंस रेटिंग |
---|---|---|
वाणी कपूर | CIB एजेंट रेया थॉमस | ⭐⭐⭐⭐ |
वैभव राज गुप्ता | विक्रम सिंह (सस्पेंडेड पुलिस) | ⭐⭐⭐⭐ |
सुरवीन चावला | नेता अनन्या भारद्वाज | ⭐⭐⭐ |
श्रिया पिलगांवकर | रुक्मिणी (चुड़ैल/देवी) | ⭐⭐⭐⭐ |
वैभव ने गुल्लक की छवि से बाहर निकलते हुए एक गहरे ट्रॉमा से ग्रस्त किरदार को जबरदस्त भावनाओं के साथ निभाया है। वाणी कपूर का ओटीटी डेब्यू दमदार है—वो शांत, सशक्त और अपने किरदार में गहराई लाती हैं।
🎥 डायरेक्शन और सिनेमैटोग्राफी का असर
गोपि पुथरन और मनन रावत का निर्देशन आपको एक ऐसे समय में ले जाता है जहां हर पेड़, हर सुरंग और हर रिचुअल कुछ न कुछ कहता है। शाज़ मोहम्मद की सिनेमैटोग्राफी 1950s और 2025 दोनों को बड़ी खूबसूरती से पेश करती है। अंधेरे, धुंध और मंदिरों की रहस्यमयी वाइब एक हॉरर-थ्रिलर का एहसास कराती है।
🧑💬 जनता और विशेषज्ञों की राय
जनता की राय:
“एकदम नई तरह की थ्रिलर है, हर एपिसोड में नई परत खुलती है। वाणी कपूर ने चौंका दिया!” – राहुल यादव, लखनऊ
“थोड़ा स्लो था बीच में लेकिन आखिरी के एपिसोड्स ने हिला कर रख दिया।” – स्वाति मिश्रा, इंदौर
विशेषज्ञ टिप्पणी:
“यह सीरीज पौराणिकता, अपराध और मनोवैज्ञानिक पहलुओं का शानदार मिश्रण है। हालांकि कहीं-कहीं कहानी भारी हो जाती है।” – माया सिंह, वेब थ्रिलर समीक्षक

💄 ग्लैमर के साथ गॉसिप: वाणी का लुक वायरल
Mandala Murders की रिलीज के ठीक बाद वाणी कपूर का एक फोटोशूट सोशल मीडिया पर वायरल हो गया, जिसमें वो शैंपेन रंग के अनारकली सूट में नजर आईं। उनकी मिनिमल मेकअप, खुले बाल और स्टेटमेंट ईयररिंग्स ने फैंस को दीवाना बना दिया। “OTT की नई क्वीन वाणी!” ऐसे कमेंट्स इंस्टाग्राम पर छा गए।
⚠️ क्या काम नहीं करता?
कुछ प्लॉट्स अधूरे लगते हैं।
सुरवीन चावला का स्थानीय नेता वाला ऐक्सेंट बनावटी लगता है।
बीच के एपिसोड्स में कहानी थोड़ी खिंचती है।
कई टाइमलाइन शिफ्ट और मिथकीय संदर्भ दर्शकों को थोड़ा भ्रमित कर सकते हैं।
🧩 निष्कर्ष: डर, रहस्य और परंपरा का अनोखा संगम
Mandala Murders कोई सामान्य क्राइम थ्रिलर नहीं है।ये एक विस्तृत कहानी है जो भारतीय संस्कृति से जुड़ती है—जहां देवी-दानव की कल्पना, आत्मबलिदान और गुप्त मंडल कहानी का आधार बनते हैं।
💬 “अगर आपको Sacred Games और Asur पसंद आया, तो Mandala Murders देखना तो बनता है!”